Z Category Stock :
NSE और BSE पर जो कंपनियां Trading करती है उनको A, B, C, D और Z कैटेगरी में विभाजित किया गया है। Z Category के ग्रुप मे Stocks की किमत कम रखी जाती है। और इसी वजह से नये Investors इस Group के स्टॉक्स की ओर आसानी से आकर्षित हो जाते है।
Stock Exchange के अलग अलग नियम है। और जब कोई भी कंपनी उन नियमों का पालन नहीं करती हैं उसे Exchange Board 'Z' Group मे डाल देता है। और साथ ही जो कंपनी अस्तित्व में नहीं है या फिर बंद कि गई हो उसे भी Z Category मे डाल दिया जाता है।
Penny Stocks Or Micro Cap Stocks :
जो छोटी छोटी कंपनियां होती है ओ Investors को लुभाने के लिए अपने Stocks की किमत कम रखते है और इन्हीं कंपनियों के Group को ' Micro Cap ' या 'Penny Stocks ' कहा जाता है।
ये Penny Stock कंपनियां NSE और BSE पर या इनमें से किसी एक पर लीस्टेड होती है। ये सभी कंपनियां Stock Exchange के 'Z' Group मे लीस्टेड की जाती है।
इन stocks की तरफ investors बहुत जल्दी आकर्षित हो जाते है। क्योंकि इन stock's मे कम समय मे मिलने वाला जादा रिटर्न। जब investors ऐसे stocks मे जादा इंट्रेस्ट दिखाते हैं और खरीदने लगते है तो promoters और broker इसका फायदा उठाते हैं।